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India Longest Highway: 7 हाईवे के संगम से बना देश का सबसे बड़ा हाईवे, एक सफर में करा देगा कश्मीर से कन्याकुमारी तक की यात्रा

 
 
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Haryana Kranti, नई दिल्ली: भारत के सबसे लंबे राजमार्ग, नेशनल हाईवे-44 (NH-44) को भारत की "हाईवे की रीढ़" कहा जाए तो गलत नहीं होगा। यह राजमार्ग कश्मीर के बर्फीले पहाड़ों से लेकर कन्याकुमारी के समुद्र तट तक, पूरे 4112 किलोमीटर तक फैला है। यह देश के 12 राज्यों से गुजरता है और इसे नॉर्थ-साउथ कॉरिडोर का हिस्सा माना जाता है।

NH-44: कश्मीर से कन्याकुमारी तक की यात्रा

नेशनल हाईवे-44 का सफर कश्मीर के श्रीनगर से शुरू होता है। शुरुआत में यह बर्फ से ढके पहाड़ों, हरे-भरे जंगलों और बहती नदियों का मनमोहक नजारा दिखाता है। जैसे-जैसे यह पंजाब में प्रवेश करता है, रास्ते में सरसों के खेत नजर आते हैं। हरियाणा और दिल्ली होते हुए यह उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, और कर्नाटक से गुजरता है। आखिर में, यह तमिलनाडु के कन्याकुमारी में समुद्र के किनारे खत्म होता है।

यह हाईवे न सिर्फ देश के भौगोलिक नजारों को दिखाता है, बल्कि भारत की विविधता का एहसास भी कराता है। इस यात्रा में आपको बर्फीली वादियां, घने जंगल, रेगिस्तान, और समुद्र सभी का अनुभव मिलता है।

NH-44 का निर्माण: 7 हाईवे का संगम

आज का NH-44, 7 बड़े राष्ट्रीय राजमार्गों को मिलाकर बनाया गया है। इसमें NH1A, NH1, NH2, NH3, NH75, NH26, और NH7 शामिल हैं। इन हाईवे को मर्ज करने के बाद इसे भारत का सबसे बड़ा हाईवे बनाया गया। यह पहली बार था जब नॉर्थ से साउथ तक का सीधा संपर्क स्थापित हुआ। इसके कारण पब्लिक ट्रांसपोर्ट आसान हुआ और विभिन्न क्षेत्रों की अर्थव्यवस्था को भी बड़ा फायदा हुआ।

राजमार्ग से जुड़े खास तथ्य

लंबाई: NH-44 की लंबाई 4112 किलोमीटर है।

राज्य: यह 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से गुजरता है।

प्राकृतिक विविधता: नदी, झरने, पहाड़, जंगल और समुद्र।

दुनिया में स्थान: यह दुनिया का 22वां सबसे लंबा राजमार्ग है।

NH-44 की प्रमुख विशेषताएं

पर्यटन के लिए वरदान: NH-44 पर यात्रा करते हुए पर्यटक कश्मीर की बर्फ, राजस्थान के रेगिस्तान, मध्य प्रदेश के ऐतिहासिक स्थल, और कन्याकुमारी का समुद्र देख सकते हैं।

आर्थिक लाभ: यह राजमार्ग उन क्षेत्रों में आर्थिक प्रगति लेकर आया है, जो पहले अपेक्षाकृत पिछड़े हुए थे।

लॉजिस्टिक्स और ट्रांसपोर्ट: भारत के उत्तर से दक्षिण तक ट्रांसपोर्ट अब तेज और सस्ता हो गया है।

कनेक्टिविटी: NH-44 छोटे कस्बों को बड़े शहरों से जोड़ता है, जिससे व्यापार और रोजगार के अवसर बढ़े हैं।

दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे से 4 गुना लंबा

दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे, जो 1350 किलोमीटर लंबा है, को भारत के सबसे उन्नत इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट में से एक माना जाता है। लेकिन, NH-44 की लंबाई इसके मुकाबले 4 गुना अधिक है।

NH-44 से गुजरने वाले प्रमुख शहर

उत्तर: श्रीनगर, जम्मू, जालंधर, दिल्ली।

मध्य: आगरा, ग्वालियर, झांसी, नागपुर।

दक्षिण: हैदराबाद, बेंगलुरु, मदुरै, कन्याकुमारी।

NH-44 पर यात्रा के दौरान क्या देखें?

कश्मीर: डल झील और गुलमर्ग।

दिल्ली: इंडिया गेट और लाल किला।

राजस्थान: जयपुर का आमेर किला।

मध्य प्रदेश: खजुराहो के मंदिर।

महाराष्ट्र: अजंता-एलोरा की गुफाएं।

तमिलनाडु: कन्याकुमारी का सूर्यास्त।

भविष्य में और सुधार की योजना

भारत सरकार NH-44 को और बेहतर बनाने की योजना पर काम कर रही है। इसमें फोर-लेन और सिक्स-लेन रोड्स के साथ-साथ हाईवे पर स्मार्ट टेक्नोलॉजी का उपयोग शामिल है। यह राजमार्ग आने वाले सालों में भारत के विकास की कहानी को और आगे बढ़ाएगा।